राष्ट्रीय

Delhi: तब्लीगी जमात में आए लोगों को आश्रय देना अपराध कैसे? हाई कोर्ट का दिल्ली पुलिस से सवाल

[ad_1]

नई दिल्ली. दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) ने दिल्ली पुलिस (Delhi Police) से सवाल किया कि तबलीगी जमात (Tablighi Jamaat) में भाग लेने वाले लोगों को पिछले साल कोरोना वायरस (Corona Virus) के कारण लागू लॉकडाउन (Lockdown) के दौरान आश्रय देने वाले भारतीय नागरिकों (Indian Citizens) ने क्या अपराध किया है? मामले की सुनवाई करते हुए दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा कि सरकार की अधिसूचना में किसी विशेष स्थान में रह रहे लोगों पर कोई प्रतिबंध लागू नहीं किया गया था.

तबलीगी जमात में पिछले साल हिस्सा लेने वाले विदेशी नागरिकों को आश्रय देने वालों के खिलाफ दर्ज FIR को रद्द करने का अनुरोध करने वाली याचिकाओं की सुनवाई कर रहीं दिल्ली हाई कोर्ट की जज जस्टिस मुक्ता गुप्ता ने टिप्पणी की कि तबलीगी जमात में भाग लेने वालों ने लॉकडाउन लागू होने से पहले शरण मांगी थी. आवागमन को प्रतिबंधित करने के आदेश का उल्लंघन करने को लेकर उन पर कोई आरोप नहीं है.

अचानक लॉकडाउन लगने पर कहां जाएगा व्यक्ति 

मामले की सुनवाई करते हुए जस्टिस मुक्ता गुप्ता ने ने कहा अचानक लॉकडाउन लागू हो जाने पर व्यक्ति कहां जाएगा. यहां क्या अपराध हुआ है? क्या मध्य प्रदेश के निवासियों के दिल्ली की किसी मस्जिद, मंदिर या गुरुद्वारे में ठहरने पर कोई प्रतिबंध है. वे अपनी इच्छानुसार कहीं भी ठहर सकते हैं. क्या इस प्रकार का कोई नोटिस था कि जो भी (उनके साथ) रह रहा था, उसे हर कोई बाहर निकाल देगा.

लॉकडाउन लागू होने से पहले ही आ गए थे तबलीगी जमात के लोग 

कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को याचिकाओं पर अपना जवाब दायर करने के लिए समय दिया. अभियोजन पक्ष के वकील ने अदालत द्वारा पारित एक पूर्व निर्देश के संदर्भ में विस्तृत स्थिति रिपोर्ट दाखिल करने के लिए समय मांगा और कहा कि उक्त समय पर हर प्रकार की धार्मिक सभाओं पर रोक थी.

याचिकाकर्ताओं के वकील ने प्रतिवेदन दिया कि तबलीगी जमात में भाग लेने वालों ने लॉकडाउन लागू होने से पहले ही इन परिसरों में रहना शुरू कर दिया था. उनमें से कोई कोरोना वायरस से संक्रमित नहीं पाया गया था, इसलिए उनके मुवक्किलों के खिलाफ कोई मामला नहीं बनता है. FIR रद्द करने की कुछ याचिकाएं ऐसे व्यक्तियों ने दायर की हैं.

विदेशियों को शरण देने वाले लॉकडाउन पर यात्रा नहीं कर सकते थे

जिन लोगों ने उन विदेशियों को शरण दी थी जो इस कार्यक्रम में शामिल हुए थे और लॉकडाउन के कारण यात्रा नहीं कर सकते थे. इसके अलावा याचिका दायर करने वालों में प्रबंध समिति के सदस्य या विभिन्न मस्जिदों की देखभाल करने वाले वे लोग शामिल हैं, जिन पर चांदनी महल पुलिस स्टेशन के अधिकार क्षेत्र के तहत मस्जिदों में विदेशी नागरिकों को आवास की सुविधा प्रदान करने का आरोप लगाया गया है.

पढ़ें Hindi News ऑनलाइन और देखें Live TV News18 हिंदी की वेबसाइट पर. जानिए देश-विदेश और अपने प्रदेश, बॉलीवुड, खेल जगत, बिज़नेस से जुड़ी News in Hindi.

[ad_2]

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *