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कौन हैं कैलास कदम? टीम राहुल ने दिया अहम पद तो कांग्रेस में ही मच गया बवाल!

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Kailas Kadam Appointed Pimpri-Chinchwad Congress President: पंजाब से लेकर छत्तीसगढ़ तक हर जगह आंतरिक विरोध और बगावत से जूझ रही कांग्रेस के भीतर की यह लड़ाई अब महाराष्ट्र पहुंच गई है. महाराष्ट्र के पुणे इलाके में पार्टी ने एक दागी नेता को अहम जिम्मेदारी दी है. इससे एक बार फिर पार्टी नेतृत्व के चुनाव पर सवाल उठने लगे हैं.

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक कांग्रेस ने पिंपरी-चिंचवड़ यूनिट के अध्यक्ष पद पर कैलास कदम को नियुक्ति किया है. कैलास कदम एक ऐसे नेता हैं जिन पर हत्या, हत्या की कोशिश और फिरौती मांगने जैसे संगीन आरोप लग चुके हैं.

कैलास की इस नियुक्ति पर पार्टी के एक धड़े ने सवाल उठाए हैं. रिपोर्ट के मुताबिक कैलास पर अब भी पुणे जिले में कई आपराधिक मामले चल रहे हैं. ये एक ऐसे नेता हैं जिन्हें कई बार पिंपरी-चिंचवड़ से बाहर भी किया गया है.

टीम राहुल ने की ये नियुक्ति
रिपोर्ट में दावा किया गया है कि कैलास की नियुक्ति टीम राहुल ने की है. दरअसल, टीम राहुल हर जगह ऐसे नेताओं की तलाश कर रही है जो आक्रामक अंदाज में विरोधियों का सामना करे.

इस बारे में कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव पृथ्वी साठे ने कहा कि कदम कई आपराधिक मामलों में बरी हो चुके हैं. उनके खिलाफ दर्ज अधिकतर मामले राजनीति से प्रेरित थे. साठे का कहना है कि कांग्रेस नेतृत्व ने पूरी तरह सोच विचारकर साठे की नियुक्ति की है. इस मामले में पार्टी में उनकी वरिष्ठता को देखा गया.

उन्होंने कहा कि कैलास की नियुक्ति से हमें इस इलाके में पार्टी को मजबूत करने में मदद मिलेगी. पिंपरी-चिंचवाड़ में हमारी स्थिति ठीक नहीं है. हमें एक मजबूत नेता की जरूरत है. कदम इस मामले में फिट बैठते हैं. उनकी स्थानीय स्तर पर अच्छी पकड़ है.

पार्टी के भीतर विरोध
पार्टी के भीतर ही कैलास की नियुक्ति के विरोध के बारे में साठे ने कहा कि ऐसा कुछ नहीं है. बीते सप्ताह उनकी नियुक्ति के बाद हमने प्रेस कांफ्रेस की थी और उसमें हमारे सभी नेता मौजूद थे. उन्होंने कहा कि अगर कोई विरोध कर रहा है तो हम उन्हें समझाएंगे कि पार्टी को आगे बढ़ाने के लिए हमें कैलास का समर्थन करना जरूरी है.

इस बीच राज्य कांग्रेस सचिव सचिन साठे ने कहा कि कैलास कदम की नियुक्ति ने पार्टी के भीतर कई नेताओं को असमंजस में डाल दिया है. इन नेताओं ने एक बैठक कर इस नियुक्ति का विरोध करने का फैसला किया है. उन्होंने अपनी भावना से हमें अवगत कराया है और वह इस बात पार्टी नेतृत्व के सामने रखेंगे. कैलास कदम की नियुक्ति के बाद आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में सचिन साठे मौजूद नहीं थे.

क्यों अहम है पिंपरी-चिंचवड़
पुणे जिले का हिस्सा पिंपरी-चिंचवड़ राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) का गढ़ रहा है. एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने यहां कई वर्षों तक शासन किया है. यह महाराष्ट्र का एक प्रमुख औद्योगिक शहर है. लेकिन बीते पांच साल से यहां की नगरपालिका पर भाजपा का शासन है.

आप इस जगह के महत्व का अनुमान इसी से लगा सकते हैं कि यहां भाजपा से सत्ता हथियाने के लिए शरद पवार खुद डेरा डाल रहे हैं. वह 13 और 16 अक्टूबर को यहां आ रहे हैं. पिंपरी-चिंचवड़ पालिका एशिया का सबसे बड़ा मनपा है.

इस शहर के विकास में शरद पवार की अहम भूमिका रही है. पुणे महानगर के औद्योगिक शहर पिंपरी-चिंचवाड़ एक निगर और नगर परिषद है. यह दो नगरों- पिंपरी और चिंचवड़ दो शहरों को मिलाकर बना है. यहां की आबादी करीब 17,50,000 है.

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