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News18 चौपाल में CAA पर बोले CM हिमंत बिस्व सरमा- ममता दीदी भले स्वागत ना करें, लेकिन भाई की बात माननी पड़ेगी

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नई दिल्ली. असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा (Assam Chief Minister Himanta Biswa Sarma) गुरुवार को न्यूज़ 18 द्वारा आयोजित चौपाल (News18 Chaupal) में पहुंचे. इस दौरान उन्होंने कई मुद्दों और सवालों पर खुल कर बात किया. इस दौरान उन्होंने CAA के मुद्दे पर पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी पर निशाना साधा. सरमा ने कहा, ‘भारत में हिंदू सभ्यता थी और हिंदू सभ्यता ही रहेगी. जहां भी हिंदू समुदाय के लोगों को तकलीफ़ होती है, धार्मिक उत्पीड़न होता है, तो उनको अपनी मातृभूमि में लौटने का अधिकार होना चाहिए. इसलिए मैं हमेशा CAA का समर्थन करता हूं.’ उन्होंने कहा ‘बांग्लादेश के बंगाली हिंदुओं का ममता दीदी भले स्वागत ना करे, लेकिन भाई की बात माननी पड़ेगी. दीदी को भाई की बात माननी पड़ेगी, क्योंकि भारत में भाई की बात ही दीदी को माननी पड़ती है, दीदी की बात भाई नहीं मानते. 2014 कटआफ़ है सीएए का, जिसे मैंने तो नहीं बनाया, लेकिन मेरा मानना है कि सौ-पचास साल आगे भी हिंदुओं को भारत में आने का अधिकार मिलना चाहिए.’

असम में मदरसों के मुद्दे पर सरमा ने कहा कि मदरसों को बंद करने का इरादा है. लगभग सात सौ मदरसे बंद हो चुके हैं, बाक़ी मदरसों को नर्सिंग स्कूल, इंजीनियरिंग कॉलेज में बदलने का इरादा है. मदरसों को स्कूल बना दिया, जिससे असम के लोग ख़ुश हैं. लोग डॉक्टर-इंजीनियर बनना चाहते हैं, लेकिन मदरसों में पढ़ने वाले तो मौलवी बनते हैं, इसलिए बच्चों की राय लेकर मदरसों को सामान्य स्कूल में बदलने का फ़ैसला किया.

मुस्लिम मतों पर सरमा ने कहा कि मैं अगर बोलूं कि मियां वोट दो, क्या मुझे वोट देगा? मुझे पक्का मालूम है कि वो मुझे प्यार नहीं करेगा, तो क्यों वोट मांगू. मियां वोट नहीं चाहिए, जिस दिन वो वोट देने के लिए तैयार हो जाएगा, उस दिन बोलूंगा कि मियां वोट दो. अभी वो स्थिति नहीं है. असम में मंदिर के पांच किलोमीटर के दायरे में बीफ़ बैन, क्योंकि मुझे बीफ़ से तकलीफ़ नहीं, बल्कि गोवध से तकलीफ़ है. उन्होंने कहा कि हज़ारों साल से भारत हिंदू समुदाय का देश रहा है और रहेगा, लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि दूसरे समुदाय के लोग यहां नहीं रह सकते, हर हिंदुस्तानी हिंदू है, क्योंकि बाबर के आने से पहले सभी हिंदू ही थे.

कांग्रेस पर टिप्पणी करते हुए सरमा ने कहा- कांग्रेस की जो पृष्ठभूमि थी और भारत को देखने का जो नज़रिया था, उससे अब भारत के लोग बाहर निकल चुके हैं. पहले इंदिरा जी की फोटो देखकर लोग वोट डालते थे, लेकिन अभी भारत उनसे आगे निकल गया है. अगर कांग्रेस को बचना है, तो कांग्रेस को ख़ुद को नए सिरे से खोजना होगा, क्योंकि परिवार के नाम पर पार्टी नए भारत को अब स्वीकार नहीं है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस का वजूद अब सिर्फ़ राज्यों के नेताओं की वजह से बचा हुआ है, ना कि गांधी परिवार की वजह से. राहुल का नेतृत्व स्वीकार क्यों नहीं, ये अमेठी की जनता से पूछिए कि लोगों ने क्यों ठुकरा दिया. मंदिर की बात करने से सांप्रदायिक, लेकिन दूसरे धर्म का स्थान बनाने वाला सेक्युलर हो जाता है. हम सीधे-सीधे हिंदू हैं और हिंदू रहेंगे, लेकिन हिंदू सभी धर्मों का सम्मान करना जानते हैं.

Tags: Assam, BJP, Chaupal, Himanta biswa sarma



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