यौन शोषण मामले में BJP विधायक को हाई कोर्ट से कुछ राहत, कुछ उलझन… सलमान खुर्शीद केस में भी जवाब तलब
[ad_1]
नैनीताल. यौन उत्पीड़न मामले में फंसे बीजेपी विधायक महेश नेगी को हाई कोर्ट से कुछ राहत भी मिली है तो कुछ मुश्किल भी पेश आई है. सरकार ने कोर्ट में कहा कि इस मामले में फाइनल रिपोर्ट में नेगी के खिलाफ 576 और 506 के आरोप नहीं बनते. इसे आधार बनाते हुए कोर्ट ने महेश नेगी के डीएनए टेस्ट पर रोक वाली याचिका खारिज कर दी है. वहीं, पीड़िता की ओर से सीबीआई जांच वाली याचिका पर हाई कोर्ट ने सरकार और नेगी को नोटिस जारी किया है. दूसरी तरफ, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सलमान खुर्शीद के घर हिंसा के मामले में जो आरोपी जेल में बंद हैं, वो हाई कोर्ट की शरण में पहुंचे हैं जबकि एक आरोपी को ज़मानत नहीं मिल सकी है.
पहले नेगी प्रकरण की बात करें तो कोर्ट ने पीड़िता के वकील से कहा कि नेगी को 2 दिन में याचिका की कॉपी सर्व करें और नेगी से इस पर 4 हफ़्तों में जवाब दाखिल करने को कहा. बता दें कि नेगी पर एक महिला प्रीति बिष्ट ने धमकी और रेप, यौन उत्पीड़न की शिकायत 5 सितंबर 2020 को नेहरू कॉलोनी देहरादून में दर्ज की थी. गिरफ्तारी को लेकर मामला हाई कोर्ट पहुंचा था तो ट्रायल कोर्ट ने 18 दिसम्बर 2020 को नेगी को डीएनए टेस्ट के लिए सैम्पल देने का आदेश दिया था. हाई कोर्ट ने निचली अदालत के फैसले पर रोक लगाई थी. इस मामले में अब नेगी के वकील राजेन्द्र कोठियाल ने बताया कि सरकार की फाइनल रिपोर्ट साक्ष्य न मिलने का दावा कर आरोप खारिज करती है.
इधर खुर्शीद मामले में मोड़, कोर्ट ने सरकार से मांगे निर्देश
पूर्व केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद के घर आग लगाए जाने और गोली चलाने के आरोपी को हाईकोर्ट से जमानत नहीं मिल सकी. हाईकोर्ट की एकलपीठ ने सरकार से निर्देश मांगे है कि क्या आरोपी उमेश मेहता की इस पूरे केस में भूमिका रही. कोर्ट इस जमानत याचिका पर अब 26 दिसंबर को सुनवाई करेगा. वहीं इसी मामले में जेल में बंद दो और आरोपियों राजकुमार मेहता और कृष्ण सिंह बिष्ट ने भी हाईकोर्ट मे याचिका दाखिल की, जिस पर अगले हफ्ते सुनवाई होगी.
सलमान खुर्शीद के घर हिंसा के मामले में याचिकाओं को लेकर हाई कोर्ट में लगातार सुनवाई चल रही है.
निचली आदालत से 4 दिसंबर 2021 को जमानत याचिका खारिज होने के बाद सभी आरोपियों ने अब हाईकोर्ट की शरण ली. याचिका में इन सभी आरोपियों का कहना है कि वो वहां रास्ते से गुज़र रहे थे और घटना के चश्मदीद थे न कि आरोपी. याचिका में कहा गया कि उनके खिलाफ साक्ष्य नहीं हैं, उन्हें राजनैतिक दुर्भावना के चलते फंसाया गया है. मेहता ने अपनी याचिका में कहा कि एफआईआर में उनका नाम नहीं है, उन्हें फंसाया जा रहा है. सुनवाई के बाद जस्टिस खुल्बे की कोर्ट ने सरकार को तथ्यों के साथ कोर्ट में जवाब देने को कहा.
इसी मामले में मुख्य आरोपी राकेश कपिल की याचिका पर भी कोर्ट को 16 दिसंबर को सुनवाई करना है. बता दें कि सलमान खु्र्शीद की किताब ‘सनराइज ओवर अयोध्या’ को लेकर विवाद हुआ था, जिसमें हिंदुत्व की तुलना कथित तौर पर बोको हरम और आईएसआईएस से की गई. इस विवाद के बाद खुर्शीद के नैनीताल के सतखोल वाले घर में आगजनी और गोलीबारी की गई थी. इस मामले में चार आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था.
आपके शहर से (नैनीताल)
पढ़ें Hindi News ऑनलाइन और देखें Live TV News18 हिंदी की वेबसाइट पर. जानिए देश-विदेश और अपने प्रदेश, बॉलीवुड, खेल जगत, बिज़नेस से जुड़ी News in Hindi. हमें Facebook, Twitter, Instagram और Telegram पर फॉलो करें.
Tags: BJP MLA, Nainital high court, Nainital news, Salman khurshid book controversy, Uttarakhand high court, Uttarakhand news
[ad_2]
Source link